मूसलाधार बारिश व तेज बारिश से दहशत में आए लोग
मंदिर परिसर में शुरु हुआ मलवा हटाने का कार्य
गरमपानी : अल्मोड़ा हल्द्वानी हाईवे पर स्थित कैंची धाम क्षेत्र में हुई मूसलाधार बारिश से साईं धाम मंदिर व बाबा नीम करौली के मुख्य मंदिर में भरे मलबे ने वर्ष 1993 की याद ताजा कर दी। ग्रामीणों की मानें तो 1993 में भी ऐसी स्थिति सामने आई थी। हालांकि अब मंदिर परिसर में मलबा हटाने का कार्य शुरू कर दिया गया है।
बुधवार शाम हुई तेज बारिश से कैंची धाम से सटी नाचक की पहाड़ी से भारी मलवा मंदिर परिसर के अंदर घुस गया। मंदिर परिसर में जिन स्थानों पर मालपुए बनाए जाते थे वह कमरा भी पूरी तरीके से मलबे से पट चुका है। मंदिर प्रबंधन ने श्रमिकों के माध्यम से अब सफाई अभियान शुरू कर दिया है। वही साईं धाम मंदिर के मुख्य मंदिर व गर्भ ग्रह में भी भारी मलबा जमा है। हाईवे के खुल जाने के बाद अब आवाजाही शुरू हो चुकी है।
बीस से ज्यादा स्थानो पर हाईवे पर आया मलवा
हाईवे पर भवाली से गरमपानी तक करीब बीस से ज्यादा स्थानों पर बरसाती नालों से मलवा हाईवे तक पहुंचा। लोग बाल बचे। घंटों यातायात बाधित हो गया। बड़े बड़े बोल्डर व मलबे के हाईवे तक पहुंचने से दहशत फैल गई। भारी भरकम मशीनों की मदद से बमुश्किल मलवा हटाया जा सका।
और छू कर निकल गई मौत
साईं मंदिर के समीप रहने वाले गोविंद सिंह बिष्ट के परिवार को मौत छू कर निकल गई। एकाएक तेज बारिश के साथ एकाएक घुप अंधेरे के साथ तेज बारिश शुरू हो गई। गोविंद सिंह बताते हैं कि अपनी बूढ़ी मां को पीठ में लाद बच्चे व बीवी का हाथ पकड़ वह हाईवे की तरफ भागे उनके घर के समीप से भारी गड़गड़ाहट के साथ मलवा व बोल्डर बहते चले गए। बमुश्किल उन्होंने जान बचाई।
बाबा को किया याद
क्षेत्रवासी बताते हैं कि मुसलाधार बारिश व आसमानी गर्जना के बीच लोगों में दहशत व्याप्त थी। भारी बारिश के बीच बाबा नीम करौली को याद किया गया देखते ही देखते कुछ ही क्षण में बारिश भी थम गई और बड़ा हादसा टल गया।