= अराजक तत्वों ने गंधक पोटाश के मिश्रण से कोसी नदी पर किए दो धमाके
= रानीखेत पुल से महज दो सौ मीटर में धमाके होने से पुल को भी खतरा
= कोसी नदी में रोहू व महसीर के भी अस्तित्व पर संकट

((((विरेन्द्र बिष्ट/फिरोज अहमद/सुनील मेहरा की रिपोर्ट)))

कोसी नदी धमाकों से दहल रही है अराजक तत्व कोसी नदी पर लगातार धमाके कर पुलिस प्रशासन को खुली चुनौती दे रहे हैं। दिनदहाड़े ही विस्फोटक के इस्तेमाल से मछलियों का शिकार किया जा रहा है। नदी में पाई जाने वाली रोहू व महाशीर मछली के अस्तित्व पर भी संकट मंडराने लगा है। अल्मोड़ा व नैनीताल जनपद की सीमा को जोड़ने वाली ऐतिहासिक रानीखेत पुल के समीप धमाके होने से पुल की बुनियाद को भी खतरा पैदा हो रहा है।
शनिवार को अराजक तत्वों ने दिनदहाड़े ही नैनीताल व अल्मोड़ा जनपद की सीमा को जोड़ने वाली ब्रितानी दौर की पुल से महज दो सौ मीटर दूर खुलेआम गंधक पोटाश के मिश्रण से नदी में धमाका कर डाला। पहली बार में मछलियों को मारने के लिए किए गए धमाके से सफलता ना मिली तो एक बार फिर दोबारा धमाका किया गया। अराजक तत्वों ने नदी क्षेत्र में खुलेआम जान जोखिम में डाल मछलियां इकट्ठा की। कोसी नदी में हो रहे धमाकों से रोहू व महाशीर मछली के अस्तित्व पर भी संकट के बादल मंडराने लगे हैं। कभी खैरना तो कभी काकडीघाट, जोरासी आदि क्षेत्रों में खुलेआम धमाके किए जा रहे हैं पुल के समीप धमाका होने से नुकसान होने की भी आशंका है। बावजूद पुलिस प्रशासन सुध नहीं ले रहा। नदी क्षेत्र में विस्फोटको के इस्तेमाल से धमाका करने वालों के खिलाफ कार्रवाई की पुरजोर मांग उठी है। लोगों ने मामले में कार्रवाई तथा नदी क्षेत्र में धमाके से मछली मारने पर प्रतिबंध लगाए जाने की मांग उठाई है।