◼️ तबाही का सबब न बन जाए शिप्रा नदी की हालत
◼️ रिवर ड्रेनिंग के नाम पर खिलवाड़ का आरोप
◼️ नदी के वेग से टक्कर लेने को एक अदद तटबंध का भी नहीं हो सका निर्माण
((( टीम तीखी नजर की रिपोर्ट)))
गरमपानी खैरना बाजार के ठीक पीछे बहने वाली उत्तरवाहिनी शिप्रा नदी की हालत से क्षेत्रवासी दहशत में है। आरोप है कि रिवर ड्रेनिंग के नाम पर नदी क्षेत्र से खिलवाड़ कर दिया गया है। आधे अधूरे कार्य से खतरा कई गुना बढ़ चुका है। नदी की प्रवाह को रोकथाम को एक अदद तटबंध निर्माण भी नहीं किया सका है।जिस कारण खतरा लगातार बढ़ते ही जा रहा है।
बीते वर्ष अक्टूबर में मूसलाधार बारिश के बाद उफान में आई उत्तरवाहिनी शिप्रा नदी ने क्षेत्र में भारी तबाही मचाई। पल भर में ही लोगो की जिंदगी भर की कमाई नदी की भेंट चढ़ गई। कई आवासीय भवन शिप्रा नदी के उफान में जमींनदोज हो गए। लोगों को घर से बेघर होना पड़ा। प्रशासन ने नदी से मलबा हटाए जाने को रणनीति तैयार कर रिवर ड्रेनिंग प्रस्तावित की पर क्षेत्रवासियों का आरोप है कि आधे अधूरे कार्य से खतरा और बढ़ गया है। स्थानीय दयाल पिनारी के अनुसार नदी का रूख आबादी की ओर बढ़ने से बड़े खतरे की संभावना है। आरोप लगाया कि मलबा हटाने के नाम पर क्षेत्र से खिलवाड़ किया गया है। मुनाफे के फेर में रिवर ड्रेनिंग तो करा दी गई पर लोगों की सुरक्षा को नदी क्षेत्र में एक अदद तटबंध भी नहीं बनाया जा सका है।