water problem

= रानीखेत खैरना स्टेट हाईवे पर हैंडपंप पर सुबह से शाम तक लग रही भीड़
= तपिश बढ़ने के साथ ही गहराया गांवों में पेयजल संकट


(((सुनील मेहरा/हरीश चंद्र/पंकज भट्ट की रिपोर्ट)))

तपिश बढ़ने के साथ ही पेयजल संकट भी गहराने लगा है। रानीखेत खैरना स्टेट हाईवे पर तमाम स्थानों पर हैंडपंप पर लगी भीड़ पेयजल संकट की हकीकत बयां कर रहे हैं। छोटे-छोटे नौनिहाल तक हैंडपंप पर पानी लेने पहुंच रहे हैं।
हर घर नल से जल योजना के दावे के बावजूद ग्रामीणों के हलक बूंदबूंद पानी को सूख रहे हैं। हालात इतने बिगड़ चुके हैं कि सुदूर गांवों से लोग स्टेट हाईवे पर लगे हैंडपंप पर पानी लेने पहुंच रहे हैं। बड़े बुजुर्ग ही नहीं बल्कि अब छोटे-छोटे नौनिहाल तक हैंडपंपों से घर के लिए पानी की व्यवस्था में जुटे हुए हैं। रानीखेत खैरना स्टेट हाईवे पर भुजान, पातली, बमस्यू, बजोल, बजीना आदि तमाम स्थानों पर पेयजल संकट सिर चढ़कर बोल रहा है। आलम यह है कि देर शाम तक हैंडपंपों पर भीड़ जुटी रहती है। गांवों के आसपास स्थित प्राकृतिक जल स्रोत भी लगातार सूखते ही जा रहे हैं जिससे परेशानी और बढ़ गई है। गांव में शादी विवाह आदि समारोह में वाहनों के जरिए गांव तक पानी पहुंचाया जा रहा है। जिसमें काफी पैसे की भी बर्बादी हो रही है। ग्रामीणों के अनुसार यदि स्टेट हाईवे पर लगे हैंडपंप खराब हो जाए तो स्थिति और ज्यादा बिगड़ जाएगी। स्थानीय लोगों ने गांवों में पेयजल आपूर्ति दुरुस्त किए जाने की मांग उठाई है। चेतावनी दी है कि यदि जल्द पेयजल व्यवस्था को ठोस कदम नहीं उठाए गए तो सड़क पर उतर आंदोलन को बाध्य होंगे।