🔳 लगातार सामने आ रही घटनाओं से भविष्य में बड़ी अनहोनी का अंदेशा
🔳 कड़ी कानूनी कार्रवाई न होने से बिल्डर के हौसले बुलंद
🔳 पुलिस, प्रशासन के साथ ही वन विभाग को दी जा रही खुली चुनौती
🔳 भविष्य में गांव व वन भूमि के अस्तित्व पर संकट बढ़ने का अंदेशा
🔳 कुछ दिन पहले रातों-रात वन भूमि खोदने के बाद स्थानीय ग्रामीण से हो चुकी मारपीट
{{{ टीम तीखी नजर की रिपोर्ट}}}

बेतालघाट ब्लॉक के सिरोडी गांव में बाहरी बिल्डर का बढ़ता दखल गंभीर सवाल खड़े कर रहा है। पहले रातों-रात वन भूमि पर खदान कुछ दिन बाद स्थानीय ग्रामीण से मारपीट कर कागज में जबरदस्ती हस्ताक्षर कराने की घटना सामने आने के बाद बिल्डर के बढ़ते हौसलों की हकीकत बयां कर रहा है। लगातार सामने आ रही घटनाएं पुलिस प्रशासन व वन विभाग को भी खुली चुनौती दे रही है। भविष्य में वन भूमि के साथ ही गांव के अस्तित्व पर संकट गहराने का अंदेशा भी बढ़ता जा रहा है।
अल्मोड़ा हल्द्वानी हाइवे पर स्थित सेनिटोरियम से तमाम गांवों को जोड़ने वाले मोटर मार्ग पर स्थित शांत समझा जाने वाला सिरोडी गांव अब अशांत होने लगा है। बाहरी बिल्डर की मनमानी से आए दिन एक के बाद एक घटनाएं सामने आ रही है। बीते दिनों बिल्डर ने रातरात वन भूमि पर खदान करवा अपनी दबंगई का परिचय दिया। कुछ दिन बाद ही गांव के बाशिंदे से मारपीट का मामला भी सामने आ गया। स्थानीय ग्रामीण ने भी मारपीट कर जबरदस्ती एक कागज पर हस्ताक्षर करवाने का आरोप लगाया। बिल्डर के दबंगई कर वन भूमि पर खदान करवाने और फिर ग्रामीण के साथ मारपीट का मामला सामने आने से तमाम गंभीर सवाल खड़े हो गए हैं।बिल्डर की बढ़ती मनमानी, वन भूमि पर खदान व ग्रामीण के साथ मारपीट किए जाने से कहीं न कहीं बिल्डर के बढ़ते हौसले का प्रमाण है। बिल्डर के बढ़ते हौसले से वन भूमि व गांव के अस्तित्व पर भी संकट गहराने का अंदेशा बना हुआ है। कड़े कानून होने के बावजूद बिल्डर पुलिस प्रशासन व वन विभाग को खुली चुनौती दे रहा है।