🔳 नदी किनारे झोपड़ी में रह रहे श्रमिक व बच्चे
🔳 जंगली जानवरों के हमले का बना है अंदेशा
🔳 मामले के तूल पकड़ने पर वन विभाग हुआ सख्त
🔳 विभागीय टीम जल्द करेंगी स्थलीय निरीक्षण
[[[[[[[[ टीम तीखी नजर की रिपोर्ट ]]]]]]]]

ब्लॉक मुख्यालय बेतालघाट से सटे सेठी- अमेल – ओखलढुगा मोटर मार्ग पर लेहड़ा क्षेत्र में बाहरी क्षेत्रों से पहुंचे श्रमिकों के नदी किनारे खतरे के बीच टैंट के अंदर रहने का मामला उठने के बाद अब वन विभाग हरकत में आ गया है। विभाग ने श्रमिकों को खतरे के बीच रखने पर संबंधित को नोटिस भेजने की तैयारी कर ली है। वन क्षेत्राधिकारी मनोज भगत के अनुसार मामले को गंभीरता से लिया जाएगा। जल्द निरीक्षण भी किया जाएगा।
बेतालघाट व कोटाबाग ब्लॉक की सीमा पर बसे ओखलढुंगा गांव में महिला को बाघ के निवाला बना देने की घटना को कुछ समय बीतने के बाद अब सेठी – अमेल- ओखलढुंगा मोटर मार्ग पर गरीब मजदूरों की जिंदगी खतरे में होने पर वन विभाग अलर्ट मोड पर आ गया है। लेहड़ा क्षेत्र में खनिज पट्टे पर कार्य को पहुंचे दर्जनों श्रमिक कोसी नदी क्षेत्र में टैंट लगाकर तंबू गाढ़े है। जंगली जानवरों व गुलदार तथा बाघ से बचाव को कोई ठोस उपाय न होने से कभी भी बड़ी घटना सामने आने का खतरा भी बना हुआ है। हद तो यह है की मजदूरों के साथ उनके छोटे छोटे बच्चे भी खतरे के बीच टैंट में रहने को मजबूर हैं। पानी पीने के लिए नदी किनारे अक्सर जंगली जानवरों की आवाजाही बनी रहती है ऐसे में जानवर कभी भी श्रमिकों व उनके बच्चों पर हमलावर भी हो सकते हैं। मामले के तूल पकड़ने के बाद वन विभाग की कोसी रेंज की टीम हरकत में आ गई है। विभाग मजदूरों पर मंडरा रहे खतरे को देख जल्द स्थलीय निरीक्षण करेगा वही पट्टा धारकों को भी श्रमिकों की सुरक्षा को ठोस उपाय किए जाने के निर्देश दिए जाएंगे। वन क्षेत्राधिकारी मनोज भगत के अनुसार मामले को गंभीरता से लिया जाएगा। लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *