🔳 सीएचसी गरमपानी में वेंटिलेटर में पहुंची महत्वपूर्ण सेवा
🔳 दूरदराज के गांवों से अस्पताल पहुंच रहे मरीज व गर्भवती महिलाएं परेशान
🔳 सेवानिवृत रेडियोलॉजिस्ट जनहित में एक दिन दे रहे सेवा
🔳 स्वास्थ्य विभाग की अनदेखी पर क्षेत्रवासियों में रोष
[[[[[[[[[ टीम तीखी नजर की रिपोर्ट ]]]]]]]]]]]
अल्मोड़ा हल्द्वानी हाईवे तथा तमाम गांवों के मध्य में स्थित सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र गरमपानी में अल्ट्रासाउंड सेवा वेंटिलेटर पर पहुंच गई है। लोगों को लाभ दिलाने के लिए लाखों रुपये की लागत से स्थापित मशीन से सप्ताह में महज एक दिन सेवा उपलब्ध हो रही है। भला हो सेवानिवृत्ति रेडियोलॉजिस्ट का जो करीब पचास किमी दूर हल्द्वानी से गरमपानी पहुंचकर सप्ताह में एक दिन जनहित में सेवा उपलब्ध करा रहे हैं। क्षेत्रवासियों ने स्वास्थ्य विभाग पर उपेक्षा का आरोप लगा जल्द व्यवस्था सुचारु किए जाने की मांग उठाई है।
सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र गरमपानी में विशेषज्ञ चिकित्सकों के कई पद रिक्त पड़े हैं। महत्वपूर्ण अस्पताल में अल्ट्रासाउंड सेवा भी बामुश्किल संचालित की जा रही है। वर्षों पर अस्पताल में अल्ट्रासाउंड मशीन स्थापित की गई उम्मीद थी की क्षेत्र के लोगों को सेवा का बेहतर लाभ मिल सकेगा पर अस्पताल में रेडियोलॉजिस्ट के पद तैनात डा. जेपी भट्ट व सरकार के बीच हुआ अनुबंध दो वर्ष पूर्व समाप्त हो गया। अनुबंध खत्म होने पर सेवा चरमरा गई। अनुबंध बढ़ाने को कई बार मांग उठी। विभागीय स्तर पर भी पत्राचार हुए पर बात आगे नहीं बढ़ी। सेवा प्रभावित होने पर हाहाकार मच गया। परेशानी को देख जनहित में रेडियोलॉजिस्ट डा. जेपी भट्ट ने सप्ताह में एक दो दिन हल्द्वानी से गरमपानी स्थित अस्पताल पहुंचकर अल्ट्रासाउंड सेवा उपलब्ध कराने का भरोसा दिलाया। तब से आज तक ऐसे ही सेवा संचालित है। सप्ताह में महज एक दिन अल्ट्रासाउंड होने से कई मरीज व गर्भवती महिलाएं दूर दराज स्थित महंगे अस्पतालों की ओर रुख करने को मजबूर हैं। बेतालघाट व सुयालबाडी अस्पताल में भी सेवा उपलब्ध न होने से हालात लगातार बिगड़ते जा रहे हैं। प्रांतीय नगर उद्योग व्यापार मंडल अध्यक्ष गजेंद्र सिंह नेगी, प्रदेश उपाध्यक्ष विरेन्द्र सिंह बिष्ट, मनीष तिवारी, फिरोज अहमद, राकेश जलाल, दीवान सिंह, कुंदन सिंह, गोपाल सिंह कनवाल, महेंद्र सिंह कनवाल, गोविन्द सिंह नेगी आदि ने बदहाल सेवा पर गहरी नाराजगी जताई है। आरोप लगाया है की स्वास्थ्य विभाग क्षेत्र की उपेक्षा पर आमादा है। दो टूक कहा की यदि जल्द व्यवस्था में सुधार नहीं किया गया तो फिर मजबूरन आंदोलन को विवश होना पड़ेगा। प्रभारी चिकित्साधिकारी डा. सतीश पंत के अनुसार सप्ताह में एक दिन सेवा उपलब्ध कराई जा रही है। रेडियोलॉजिस्ट की स्थाई व्यवस्था को उच्चाधिकारियों को पत्राचार किया गया है।