◾ धान की फसल हुई चौपट किसानों को भारी नुकसान
◾ धान, गहत, मास, भट्ट समेत विभिन्न दालो की उपज बर्बाद
◾ लगातार नुकसान से इस बार भी नहीं उबर सके किसान
((( टीम तीखी नजर की रिपोर्ट)))
इंद्रदेव किसानों से रूठ चुके हैं। लगातार खेती-बाड़ी चौपट होती जा रही है। पिछले तीन दिनों से लगातार बारिश ने धान समेत विभिन्न दालो की उपज बर्बाद कर डाली है। लगातार नुकसान से किसानों के माथे पर चिंता की लकीरें उभर गई है।
कोरोनाकाल के बाद से ही पहाड़ के किसानों की किस्मत साथ नहीं दे रही। पहले कोरोनाकाल में उपज खेतों में ही बर्बाद हुई फिर बीते वर्ष अक्टूबर में आई आपदा ने खेतों को रोखड़ में तब्दील कर दिया। हाड़तोड़ मेहनत कर किसानों ने दोबारा खेत कृषि योग्य बनाए। ऋण लेकर मंहगे बीज खरीद बुवाई भी की पर अब एक बार फिर मूसलाधार बारिश ने किसानों के सपने तोड़ दिए हैं। धान की उपज को भारी नुकसान पहुंचा है वहीं गहत, मास, भट्ट, सोयाबीन समेत कई फसलें चौपट हो चुकी हैं। लाखोरी मिर्च को भी नुकसान पहुंचा है। बेतालघाट ब्लॉक के तमाम गांवों के काश्तकार परेशान हो चुके हैं। बिशन जंतवाल, शेखर दानी, कृपाल सिंह मेहरा, वीरेंद्र बिष्ट, हरीश चंद्र, पंकज भट्ट, कुबेर सिंह जीना आदि क्षेत्रवासियों ने किसानों को बर्बाद फसल का मुआवजा दिए जाने की पुरजोर मांग उठाई है।