बाबा भक्तों ने घर से ही किया बाबा को याद, लगाया मालपुए का भोग
मुख्य गेट पर रहा पुलिस प्रशासन का कड़ा पहरा
((( हरीश चंद्र की रिपोर्ट)))
बाबा भक्तों ने स्थापना दिवस पर अपने आराध्य को घर से ही याद किया। मालपुए बना भोग लगाया। कुछ बाबा भक्त धाम पर भी मत्था टेकने पहुंचे। पुलिस प्रशासन सुबह से ही मुस्तैद रहा।
अल्मोड़ा हल्द्वानी हाईवे पर स्थित कैंची धाम में स्थापना दिवस पर विशाल मेले व भंडारे का आयोजन होता है। कोरोना संकट के चलते पिछले वर्ष से ही सादगी से स्थापना दिवस मनाया जा रहा है। मंगलवार को भी बाबा भक्तों ने अपने आराध्य को घर से ही याद किया। सुबह-सुबह कई बाबा भक्त कैची धाम पहुंचे। मुख्य द्वार पर ही मत्था टेका। कोतवाली पुलिस भवाली, चौकी खैरना तथा प्रशासन की टीम सुबह से ही मुस्तैद रही। हाईवे पर किसी को भी ज्यादा देर रुकने नहीं दिया गया। पुलिस प्रशासन ने बाबा भक्तों से भी सहयोग का आह्वान किया। कई बाबा भक्तों ने वाहनों से ही बाबा को नमन कर जयकारे लगाए।
कोरोना के खात्मे तथा सुख शांति को हुई प्रार्थना
मंदिर परिसर में भी बेहद सादगी से स्थापना दिवस मनाया गया। सोमवार से शुरू हनुमान चालीसा का पाठ निरंतर होता रहा। पूजा अर्चना, महाआरती के बाद भोग लगाया गया। देश दुनिया में शांति तथा कोरोना संक्रमण के खात्मे को प्रार्थना की गई। मंदिर प्रबंधन ने पुलिस प्रशासन व बाबा भक्तों से मिले सहयोग पर आभार जताया।
हर वर्ष की तरह पैदल ही पहुंचे धाम
बाबा के दर पहुंचने वाले भक्तों ने हार नहीं मानी। समीपवर्ती पाडली गांव से बाबा भक्त जीवन अपनी तीन वर्षीय बेटी व पत्नी को लेकर पैदल ही कैंची धाम की ओर निकल पड़े। मुख्य द्वार पर मत्था टेकने के बाद वापस ही पैदल घर की दूरी नापी। गिरीश बोले कि वह प्रतिवर्ष पैदल ही बाबा के दर मत्था टेकने पहुंचते हैं। हर वर्ष की भांति यह क्रम इस बार भी निरंतर बनाए रखा।
कम नहीं हुई श्रद्धा
कोरोना संकट के बाद भी बाबा भक्तों ने श्रद्धा कम नहीं होने दी हालांकि मुख्य द्वार पर मत्था टेकने के बाद श्रद्धालु वापस लौट गए पर कुछ कुछ श्रद्धालुओं ने हाईवे किनारे बैठ हनुमान चालीसा का पाठ किया। अपने आराध्य को याद कर सुख शांति की प्रार्थना की। कई श्रद्धालु बोले की निश्चित रूप से अब कोरोना का खात्मा होगा और अगले वर्ष एक बार फिर धूमधाम से स्थापना दिवस मनाया जाएगा। बाबा भक्तों ने जयकारे भी लगाएं।
बाजार में पसरा सन्नाटा
कैंची धाम में स्थापना दिवस पर लगने वाले मेले में उत्तर प्रदेश,हरियाणा, पंजाब आदि क्षेत्रों से भी व्यवसाई पहुंचते थे पर कोरोना संकट के चलते लोगों के हाथों से रोजगार चला गया। बीते वर्ष की तरह इस बार भी कैंची धाम क्षेत्र में कोई व्यापारी नहीं पहुंचा। बाजार क्षेत्र में सन्नाटा पसरा रहा।